बलरामपुर अस्पताल में सीट से ज्यादा तैनात किए इंटर्न डाक्टर

लखनऊ। बलरामपुर अस्पताल में एमबीबीएस व आयुष छात्रों की इंटर्नशिप को लेकर नया खुलासा हुआ है। सूचना के तहत मांगी गई जानकारी में यह पता चला कि अस्पताल में तय सीट से ज्यादा इंटर्न छात्रों को तैनात कर दिया है। यह मामला बढ़ने के बाद अस्पताल प्रशासन ने नये इंटर्न की तैनाती पर रोक लगा दी है।
मालूम हो कि बलरामपुर अस्पताल में एमबीबीएस व आयुष पद्धति के छात्र इंटर्नशिप करते हैं। एमबीबीएस अंतिम वर्ष की परीक्षा के बाद छात्रों को एक साल की इंटर्नशिप करनी होती है। आयुष छात्रों को भी एक साल की इंटर्नशिप अनिवार्य है। इसमें छह माह छात्र अपने कॉलेज में इंटर्नशिप करते हैं। बाकी छह माह एलोपैथिक अस्पताल में करते हैं। बलरामपुर अस्पताल में करीब 210 इंटर्नशिप की सीटें हैं। जिसमें 170 एमबीबीएस व 55 आयुष छात्रों के लिए सीटे हैं। एमबीबीएस छात्रों को इंटर्नशिप के बदले भत्ता प्रदान किया जाता है। अस्पताल में अधिकारियों ने आयुष की तय सीटों से ज्यादा छात्रों को इंटर्नशिप के लिए रख लिया। इस पर कई शिकायत हुईं। जिस पर अधिकारियों ने लीपापोती कर दी। सूचना अधिकार के तहत जब यह जानकारी मांगी गई तो अधिकारी हरकत में आए। उसके बाद अधिकारियों ने किरकिरी व अनियमितता से बचने के लिए महानिदेशक प्रशिक्षण को पत्र भेजकर सीट बढ़ाने की अनुमति मांगी।
यह भी पढ़ें : – बलरामपुर अस्पताल को मिली 5 डायलिसिस मशीनें
इंटर्नशिप के नोडल अधिकारी डॉ. एमपी सिंह का कहना है कि मुझे कुछ समय पहले ही इंटर्नशिप का चार्ज मिला है। आयुष में तय से अधिक सीटों से कुछ ज्यादा छात्रों की तैनाती हुई है। पूरे मामले को देखते हुए मई तक इंटर्नशिप के लिए नए छात्रों के आवेदन पर रोक लगा दी गई है। फिलहाल मई तक किसी भी नए आयुष छात्र की तैनाती नहीं की जाएगी। साथ ही विभागावर डॉक्टरों से इंटर्नशिप छात्रों की जरूरत का प्रस्ताव मांगा गया है। बताया जा रहा है कि इंटर्न छात्रों की हाजिरी तक की व्यवस्था ध्वस्त है। सुरक्षा गार्ड की निगरानी में छात्र लाइन लगाकर हाजिरी लगाते हैं। कई बार तो गार्ड ही छात्रों की ड्यूटी लगाते हैं।